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नीम के पेड़ पर निबंध

Essay on Neem Tree in Hindi: नमस्कार दोस्तों आज हम आप सभी लोगों को अपने इस महत्वपूर्ण निबंध के माध्यम से भारत के पुराने और सबसे ज्यादा पाए जाने वाले पेड़ “नीम के पेड़ पर निबंध” के विषय में बताने वाले हैं। दोस्तों नीम का पेड़ हमारे भारत में औषधि के रूप में भी उपयोग किया जाता है। नीम के पेड़ का जीवनकाल बहुत ही लंबा होता है और यह पेड़ काफी तेजी से वृद्धि करता है और इसके साथ-साथ काफी लंबे समय तक जीवित रहता है।

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Image : Essay on Neem Tree in Hindi

दोस्तों आज के इस आर्टिकल में हम आप सभी लोगों को नीम के पेड़ पर निबंध के विषय में ही बताने वाले हैं। यदि आप नीम के पेड़ पर निबंध जानना चाहते हैं तो हमारे इस लेख के साथ अंत तक अवश्य बने रहे क्योंकि इस लेख में आप सभी लोगों को नीम के पेड़ पर 250 शब्दों में और 850 शब्दों में निबंध जानने को मिलेगा।

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नीम के पेड़ पर निबंध | Essay on Neem Tree in Hindi

नीम के पेड़ पर निबंध (250 शब्द)

दोस्तों नीम का पेड़ हमारे भारत में सर्वाधिक पाया जाने वाला एक ऐसा पेड़ है, जो कि लगभग 50 फीट तक लंबा हो सकता है और यह हमारे देश में महत्वपूर्ण औषधियों के रूप में भी उपयोग किया जाता है। नीम के पेड़ का जीवन काल बहुत ही लंबा होता है। यह पेड़ बहुत ही तेजी से वृद्धि करते हैं और काफी शुभ भी माने जाते हैं। हमारे भारत में नीम के पेड़ को माता दुर्गा का निवास स्थान माना जाता है और इसीलिए इसकी पूजा भी की जाती है।

यदि हम इसके साइंटिफिक रीजन को देखें तो पता चलेगा कि पुराने समय के लोगों ने यह प्रथा इसलिए बनाई थी क्योंकि नीम के पेड़ का उपयोग औषधियों के रूप में किया जाता है और इसी कारण से इसे बचाए रखने के लिए इसमें समय-समय पर जल की आवश्यकता पड़ती है और इसीलिए इसे माता दुर्गा का निवास स्थान कहा गया, ताकि लोग प्रतिदिन जल समर्पित करें और इस पेड़ को जीवित रखें।

दोस्तों नीम का पेड़ एक ऐसा पेड़ है जिसे केवल मरुस्थलीय क्षेत्रों को छोड़कर पूरे संसार में कहीं पर भी उगाया जा सकता है। नीम का पेड़ भारत में ही नहीं बल्कि पूरे संसार में सबसे ज्यादा उगाया जाने वाला पेड़ हो गया है और यह पेड़ सबसे ज्यादा ग्रामीण इलाकों में पाए जाते हैं। दोस्तों यदि हम आपको बता दें तो नीम के पेड़ को जीवित रहने के लिए ज्यादा धूप और कम पानी की आवश्यकता होती है और यही कारण है कि इसे किसी भी क्षेत्र में आसानी से उगाया जा सकता है।

नीम के पेड़ पर निबंध (850 शब्द)

प्रस्तावना

दोस्तों नीम का पेड़ भारत में सर्वाधिक पाया जाने वाला पेड़ है और भारत में नीम के पेड़ को एक औषधीय पौधा माना जाता है क्योंकि इसके उपयोग के अनेकों लाभ हैं। यदि हम नीम के पत्तों को पानी में उबालकर और पानी को ठंडा करके प्रतिदिन नहाते हैं तो चर्म रोग जैसी समस्याएं हमसे हमेशा दूर रहती हैं।

नीम की पत्तियों के साथ-साथ नीम का तेल भी बहुत ही ज्यादा लाभकारी सिद्ध होता है। नीम के तेल को निकालने के लिए पहले बीजों से उसकी गुठलियों को निकाल लिया जाता है और बाद में इससे मशीनों के द्वारा तेल निकाला जाता है। यदि हम आपकी जानकारी के लिए बता दे, तो एक गुठली में लगभग 50% तक तेल होता है।

नीम के पौधे की उत्पत्ति

नीम के पौधे की उत्पत्ति बहुत ही पुराने समय में हो गई थी। इसकी उत्पत्ति बर्मा नामक एक पौधे से हुई थी। बर्मा बहुत ही पुराने समय में पाया जाने वाला एक पौधा हुआ करता था, जो कि एक औषधीय पौधा था। इस पौधे को शंकरण कराने के बाद एक पौधा प्राप्त हुआ था, जिसे नीम नाम दे दिया गया और यह पौधा भी अपने अंदर औषधीय गुण रखता है और इतना ही नहीं यह पौधा बर्मा के पौधे से भी ज्यादा औषधीय गुण सकता है।

नीम के पौधे का अन्य नाम

नीम के पौधे को एक चमत्कारी वृक्ष भी कहा जाता है। नीम के पौधे को भारत में निंबा और नीब के नाम से भी जाना जाता है। इसके साथ-साथ संस्कृत में नीम के पौधे को अरिष्ट कहा जाता है, इसका हिंदी में मतलब बीमारी से राहत दिलाना होता है। इतना ही नहीं इस पौधे का एक अन्य नाम भी है, जिसे मार्गोसा भी कहते हैं और इसी नाम को कॉपी करके एक साबुन की कंपनी मार्गो भी बनी।

नीम के पौधे का सांस्कृतिक महत्व

नीम का पौधा हमारे भारत में सभी क्षेत्रों में पाया जाता है और यह भी कहा जाता है कि यदि किसी के घर में नीम का पेड़ लगा हुआ है तो वह उस घर के लोगों के लिए स्वर्ग का मार्ग सुनिश्चित कर देता है और इसके साथ-साथ यह भी कहा जाता है कि नीम के पौधे में माता दुर्गा का वास होता है और इसी कारण से बुरी आत्माओं का साया घर से कोसों दूर रहता है।

नवजात शिशु को नीम के पत्ते पर रखा जाता है, इसका पौराणिक महत्व यह है, कि नीम के पत्ते को सुलाने से बच्चा माता दुर्गा की गोद में रहता है और सुरक्षित रहता है, परंतु इसका साइंटिफिक रीजन कुछ और है बच्चे को नीम के पत्तों पर रखने का मतलब यह है, कि उसके शरीर पर कोई वाह री बैक्टीरिया या फिर वायरस अटैक नहीं कर पाता और बच्चा सुरक्षित रहता है।

नीम के अलग-अलग भागों का उपयोग

हम आप सभी लोगों को बता देना चाहते हैं कि नीम के पत्ते और गोपियों के साथ साथ नीम के हर एक भागो का उपयोग औषधि के रूप में और पौराणिक मान्यताओं के अनुसार पूजा पाठ में किया जाता है। आइए हम सभी लोग अब जानते हैं, कि नीम के अलग-अलग भागों का उपयोग कहां कहां किया जाता है?

नीम के पत्ते का उपयोग

दोस्तों नीम के पेड़ के सबसे ज्यादा सक्रिय तत्व होते हैं क्योंकि इसका उपयोग औषधि के रूप में किया जाता है। हम आपकी जानकारी के लिए बता दूं, तो नीम का पौधा एक बहुमुखी रक्षणीय पौधा है क्योंकि यह सदाबहार वृक्षों में से एक है। आप सभी लोग नीम की पत्तियों का उपयोग घरेलू उपचार के रूप में आसानी से कर सकते हैं।

आप नीम की पत्तियों का उपयोग टूथपेस्ट, स्किन केयर प्रोडक्ट, हेयर ऑयल में नीम की पत्तियों का उपयोग और अर्क का इस्तेमाल और इसके साथ-साथ आप बहुत सारी औषधियों के रूप में नीम की पत्तियों का उपयोग कर सकते हैं।

नीम के छाल का उपयोग

दोस्तों आप सभी लोग नीम की पत्तियों के साथ-साथ नीम के छाल का भी उपयोग औषधियों के रूप में और प्राथमिक चिकित्सा के रूप में कर सकते हैं।

यदि आपको कहीं चोट लग जाए और आप उसे घरेलू उपचार के तहत ठीक करना चाहे, तो आप सभी लोग नीम के छाल को उतारकर किसी पत्थर पर हल्के से पानी को रखकर रगड़ी और इसके बाद जो पेस्ट बनकर तैयार हो उसे आप अपने चोट पर लगाएं। यदि आप ऐसा करेंगे तो इंफेक्शन नहीं खेलेगा और आपका चोट जल्द से जल्द ठीक भी हो जाएगा।

नीम के बीज का उपयोग

जैसा कि हमने आपको ऊपर ही बता दिया कि आप सभी लोग नीम के बीजों का उपयोग तेल के रूप में कर सकते हैं और दोस्तों आइए हम आपको विस्तार पूर्वक से समझाते हैं। यदि आप सभी लोगों को नीम के बीज का तेल निकलवाना है तो सबसे पहले आपको नीम के बीज इकट्ठा करने होंगे और इन्हें हल्का सा धूप लगवाने के बाद रख लेना है।

जब आपके पास पर्याप्त मात्रा में नीम के बीज हो जाएं तो उसे तेल निकालने वाली मशीनो तक पहुंचाना है और अब आपको मशीनों के द्वारा तेल निकाल कर दे दिया जाएगा। जिसका उपयोग आप सभी लोग अपने चरम रोग को दूर करने के लिए कर सकते हैं।

निष्कर्ष

नीम का पौधा भारत के अरे क्षेत्रों में पाया जाता है और इसे बहुत ही सांस्कृतिक और चमत्कारी पौधा माना जाता है, क्योंकि लोगों का मानना है, कि नीम के पौधे पर देवियों का वास होता है और यह पौधा बुरी आत्माओं से हमें बचाता है और इसके साथ-साथ नीम के पौधे को औषधि के रूप में भी उपयोग करते हैं।

अंतिम शब्द

हम आप सभी लोगों से उम्मीद करते हैं, कि आप सभी लोगों को हमारे द्वारा लिखा गया यह नीम के पेड़ पर निबंध (Essay on Neem Tree in Hindi) महत्वपूर्ण लेख अवश्य ही पसंद आया होगा। यदि आपको हमारा यह लेख वाकई में पसंद आया हो, तो कृपया इसे शेयर करें और यदि आपके मन में इस लेख को लेकर किसी भी प्रकार का कोई सवाल या फिर सुझाव है, तो कमेंट बॉक्स में हमें अवश्य बताएं।

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