Home > Biography > योगी आदित्यनाथ का जीवन परिचय और राजनीतिक सफ़र

योगी आदित्यनाथ का जीवन परिचय और राजनीतिक सफ़र

yogi adityanath biography in hindi

Yogi Adityanath Biography in Hindi: योगी आदित्यनाथ जो कि उत्तर प्रदेश राज्य के वर्तमान मुख्यमंत्री हैं। उत्तर प्रदेश जो कि एक माफिया राज के लिए जाना जाता था। उनके आते ही अपराधियों पर जिस तरीके से लगाम कसी गई शायद ही ऐसा कोई मुख्यमंत्री अब तक उत्तर प्रदेश में ऐसा कुछ कर सका।

न केवल अपराधों को खत्म करने बल्कि जनता के विकास के लिए कई योजनाओं को भी शुरू किया। अपने धर्म और सियासत के सफर में हर बार योगी आदित्यनाथ ने जनता की सेवा को सबसे ऊपर रखा है।

तभी तो ये उत्तर प्रदेश के सबसे अधिक समय तक मुख्यमंत्री बनने का खिताब अपने नाम किए हुए हैं। योगी आदित्यनाथ का सन्यासी जीवन से लेकर राजनीतिक जीवन तक का सफर आसान नहीं रहा है। इस सफर में इन्हें कई उतार-चढ़ाव का सामना करना पड़ा।

यहां योगी आदित्यनाथ का इतिहास (Yogi Adityanath History in Hindi) जानने के साथ ही इस जीवन परिचय में योगी आदित्यनाथ का प्रारंभिक जीवन, परिवार, शिक्षा, सन्यासी जीवन, राजनीतिक जीवन आदि के बारे में विस्तार से जानेंगे।

योगी आदित्यनाथ का जीवन परिचय (Yogi Adityanath Biography in Hindi)

नामयोगी आदित्यनाथ
असली नामअजय सिंह बिष्ट
निक नेमयोगी
जन्म और जन्मस्थान5 जून 1972, पंचूर, पौड़ी गढ़वाल (उत्तराखंड)
पेशाराजनीतिज्ञ
शैक्षणिक योग्यतागणित में स्नातक (बीएससी)
स्कूलपुरी प्राइमरी स्कूल, उत्तराखंड
कॉलेजगढ़वाल यूनिवर्सिटी, श्रीनगर, उत्तराखंड
राष्ट्रीयताभारतीय
धर्महिन्दू (नाथ संप्रदाय)
जातिठाकुर
अध्यात्मिक गुरुमहंत अवैद्यनाथ महाराज
राजनीतिक दलभारतीय जनता पार्टी (बीजेपी)

योगी आदित्यनाथ का प्रारंभिक जीवन

योगी आदित्यनाथ का जन्म देवभूमि के नाम से प्रसिद्ध उत्तराखंड के पौड़ी गढ़वाल के पंचूर गांव में 5 जून 1972 को हुआ था। इनका बचपन का नाम अजय सिंह बिष्ट था।

इनके पिता का नाम आनंद सिंह बिष्ट था, जो कि पेशे से वन विभाग के अधिकारी थे। इसके साथ ही गोरखनाथ मंदिर के महंत भी थे। पिता की मृत्यु के बाद योगी आदित्यनाथ ही मंदिर के स्वयं महंत बन गए। इनकी माता का नाम सावित्री देवी था।

योगी आदित्यनाथ का परिवार

योगी आदित्यनाथ अपने माता-पिता की पांचवीं संतान है। इनके परिवार में इनके माता-पिता के अतिरिक्त तीन बड़ी बहन है और एक बड़े भाई और दो छोटे भाई हैं। नाथ संप्रदाय के पीठ गोरक्षपीठ के पीठाधीश्वर के पद पर आसीन होने के बाद इन्होंने अपने मूल परिवार का त्याग कर दिया।

उनकी तीन बहनों में से एक का नाम शशि पायल है, जो कि पुरी गढ़वाल में माता भुवनेश्वरी देवी मंदिर के करीब एक दुकान चलाती हैं और बहुत बार मीडिया ने उनका इंटरव्यू भी लिया है।

इनकी एक बहन का नाम पुष्पा है, जो कि गाजियाबाद में रहती है और कुछ समय पहले अपने बहनोई की मृत्यु पर बहन को शांत्वना देने के लिए गाजियाबाद पहुंचे थे।

योगी आदित्यनाथ के एक बड़े भाई हैं, जिनका नाम मानवेंद्र मोहन है और वह एक कॉलेज में कार्यरत हैं। वहीं इनके दो छोटे भाई भी हैं शैलेंद्र और महेंद्र मोहन जिसमें से एक भाई स्कूल में कार्यत हैं। वहीं दूसरा भाई शैलेंद्र भारती चीन बॉर्डर पर सेना में सूबेदार के पद पर तैनात है।

योगी आदित्यनाथ की शिक्षा

योगी आदित्यनाथ की प्रारंभिक शिक्षा टिहरी के गज स्थानीय स्कूल से पूरी हुई। 1987 में दसवीं कक्षा पास करने के बाद इन्होंने ऋषिकेश के श्री भारत मंदिर इंटर कॉलेज में प्रवेश लिया और 1989 में 12वीं कक्षा पास की।

उसके बाद स्नातक की पढ़ाई के लिए हेमंती नंदन बहुगुणा गढ़वाल विश्वविद्यालय में एडमिशन लिए और फिर गणित विषय में साल 1992 में बीएससी की डिग्री प्राप्त की।

अपनी ग्रेजुएशन के दौरान यह अखिल भारतीय परिषद से जुड़ गए थे। उसके बाद विज्ञान में ही पोस्ट ग्रेजुएशन की डिग्री प्राप्त करने के लिए इन्होंने ऋषिकेश में प्रवेश लिया।

योगी आदित्यनाथ का सन्यासी जीवन

अपने उच्च स्नातक की पढ़ाई के दौरान राम मंदिर के आंदोलन के चलते योगी आदित्यनाथ का ध्यान पढ़ाई से भटकने लगा। उसके बाद गुरु गोरखनाथ पर शोध करने के लिए 1993 में यह अपने चाचा महंत अवैद्यनाथ के शरण में गोरखपुर चले गए। वहीं पर इन्होंने दीक्षा ली और फिर सन्यासी जीवन को ग्रहण किया।

1994 में सन्यासी बनने के बाद अजय मोहन सिंह बिष्ट योगी आदित्यनाथ के नाम से जाने जाने लगे। फिर वर्ष 2014 में 12 सितंबर को महंत अवधनाथ के निधन के बाद गोरखपुर मंदिर के महंत के रूप में योगी आदित्यनाथ को मंदिर का पीठाधीश्वर बनाया गया।

यह भी पढ़े: नरेन्द्र मोदी का जीवन परिचय

योगी आदित्यनाथ का राजनीतिक जीवन

योगी आदित्यनाथ का राजनीतिक सफर वर्ष 1998 में भारतीय जनता पार्टी प्रत्याशी के तौर पर गोरखपुर चुनाव लड़ने से हुआ। उस समय इनकी उम्र मात्र 26 वर्ष की थी। इस तरीके से पहली बार लोकसभा के सबसे युवा सांसद बनने में सफल हुए।

संसद भवन में पहली बार भगवा कपड़े पहने और भगवा साफा में योगी आदित्यनाथ पहुंचे और शपथ ग्रहण की। इनका वह रूप काफी ज्यादा चर्चाओ में रहा था।

वर्ष 2002 में इन्होंने हिंदी युवा वाहिनी का गठन किया। 2 साल के बाद एक बार फिर लोकसभा का चुनाव जीतने में सफल हुए। एक बार फिर 2004 में तीसरी बार लोकसभा के सांसद बनने में कामयाब हुए।

साल 2009 में एक बार फिर 2 लाख से भी अधिक वोटों से जीत हासिल करके लोकसभा के सांसद बने। 2014 के लोकसभा चुनाव में भी इन्होंने बंपर वोटों से जीत दर्ज की। इस तरह योगी आदित्यनाथ उत्तर प्रदेश के गोरखपुर से लगातार पांच बार सांसद रहे।

राजनीति में योगी की ताकत बढ़ने पर गोरखपुर के कई ऐतिहासिक स्थानों का नाम बदलकर हिंदू नाम करवा दिए जैसे कि अली नगर को आर्य नगर का नाम दिया। मियां बाजार का नाम बदलवाकर माया बाजार करवा दिया। वहीं उर्दू बाजार का नाम बदलवाकर हिंदी बाजार कर दिया।

साल 2014 में 12 विधानसभा सीटों पर उपचुनाव हुआ। उसमें योगी आदित्यनाथ भी खड़े हुए लेकिन इन्हें सफलता हासिल नहीं हुई।

मुख्यमंत्री के रूप में योगी आदित्य नाथ

वर्ष 2017 के विधानसभा चुनाव में भाजपा दल को बहुमत प्राप्त हुआ, उसी वर्ष योगी आदित्यनाथ का पूरे राज्य भर में प्रचार प्रसार करवाया गया। इसके लिए भाजपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष ने हेलिकॉप्टर भी इन्हें दिया था।

विधानसभा चुनाव में बहुमत हासिल होने के बाद आदित्यनाथ को विधायक दल का नेता चुनकर मुख्यमंत्री नियुक्त किया गया। अपने 5 साल के मुख्यमंत्री के कार्यकाल में इन्होंने उत्तर प्रदेश के विकास के लिए बहुत कुछ किया।

उसी का नतीजा था कि साल 2022 के विधानसभा चुनाव में एक बार फिर उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री बनने में कामयाब हुए। आबादी के लिहाज से देश के सबसे बड़े राज्य उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री बनकर योगी आदित्यनाथ ने इतिहास रच दिया।

योगी आदित्यनाथ पर लगे आरोप

योगी आदित्यनाथ पर कुछ दंगे भड़काने का भी आरोप लग चुके हैं। इसके अलावा हत्या की कोशिश, गैर कानूनी तरह से सभा लगाना और खतरनाक हथियारों को रखने का भी आरोप लग चुका है।

वर्ष 2005 में योगी आदित्यनाथ पर ईसाई लोगों के धर्म परिवर्तन का आरोप लगा था, जिसके अनुसार यह दावा किया गया था कि योगी आदित्यनाथ ने उत्तर प्रदेश के एटा नामक जगह पर 1800 ईसाई धर्म के लोगों को हिंदू धर्म में परिवर्तित करवा दिया।

योगी आदित्यनाथ पर जानलेवा हमला

7 सितंबर 2008 को योगी आदित्यनाथ पर हिंसक हमला हुआ था, जिसमें वह बाल-बाल बचे थे। उनके 100 से भी अधिक वाहनों को हमलावरों ने घेर लिया था, जिसमें कई लोगों की जान भी गई थी।

योगी आदित्यनाथ के द्वारा किए गए महत्वपूर्ण कार्य

योगी आदित्यनाथ ने मुख्यमंत्री पद का शपथ ग्रहण करने के तुरंत बाद ही राज्य में लोगों के हित के लिए कई बड़े ऐलान किये और बड़े फैसले लिए, जो कि निम्न है:

  • योगी आदित्यनाथ ने उत्तर प्रदेश की महिलाओं की सुरक्षा के प्रति विशेष ध्यान दिया है। मुख्यमंत्री बनने के कुछ ही दिन बाद उन्होंने उत्तर प्रदेश में “एंटी रोमियो स्क्वायड” नाम की टीम का गठन करने का आदेश दिया, जो लड़कियों को छेड़ने वाले मनचलों को सबक सिखाएगी। यह टीम लखनऊ के 11 जिलों में तैनात की गई थी। योगी आदित्यनाथ के कारण ही उत्तर प्रदेश में महिलाएं पूरी तरीके से सुरक्षित है।
  • उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री बनते ही योगी आदित्यनाथ ने उत्तर प्रदेश में अवैध कसाई खाने पर प्रतिबंध लगवा दिया। उन्होंने सभी पुलिस कर्मचारियों को आदेश दिया कि जल्द से जल्द अवैध कसाईखानों को बंद करवाया जाए।
  • योगी आदित्यनाथ के महत्वपूर्ण कार्यों में से एक उत्तर प्रदेश में गाय की तस्करी पर रोक लगवाना है। वह खुद एक पुजारी और गौ सेवक है। सत्ता में आने के बाद उन्होंने सभी पुलिस कर्मियों को गाय की तस्करी पर कार्यवाही करने के लिए कहां और जीरो टॉलरेंस की नीति अपनाते हुए शख्ती भी बरतने की छूट दी।
  • योगी आदित्यनाथ ने नशे पर भी काफी हद तक प्रतिबंध लगाया है। मुख्यमंत्री की सत्ता संभालते हुए इन्होंने सरकारी कार्यालय में किसी भी कर्मचारियों को तंबाकू खाने पर पाबंदी लगवा दी है और यह न केवल सरकारी कार्यालय बल्कि अस्पताल, कॉलेज और स्कूलों में भी लागू किया गया है। इसके साथ ही प्लास्टिक के इस्तेमाल पर भी रोक लगाई है।
  • मुख्यमंत्री आदित्यनाथ ने भ्रष्टाचार को रोकने के लिए भी महत्वपूर्ण कार्य किया है। उत्तर प्रदेश की नई कैबिनेट तैयार होते ही इन्होंने सभी कैबिनेट मंत्रियों को उनके व्यक्तिगत सभी अंचल एवं चल धन संपत्ति का सारा ब्योरा 15 दिन के अंदर पेश करने को कहा। उनके द्वारा आयोजित मीटिंग में उत्तर प्रदेश सरकार के कुल 65 अधिकारी मौजूद थे।
  • सत्ता में आते ही योगी आदित्यनाथ ने सभी गैर सरकारी सलाहकारों को नौकरी से हटाने का फैसला लिया। इससे पहले समाजवादी पार्टी की सरकार ने अपने समय में 80 सलाहकारों को नियुक्त कर रखा था, जो मंत्रियों को मिलने वाली सुविधाओं का लाभ उठा रहे थे। इस सलाहकारों के अतिरिक्त उपाध्यक्ष, अध्यक्ष, अनावश्यक समितियां और अन्य सदस्य भी शामिल है।
  • राज्य में सांप्रदायिक शांति के लिए योगी आदित्यनाथ ने राज्य के सभी पुलिस कर्मियों को सोशल मीडिया से जुड़े रहने का आदेश दिया ताकि उन्हें जल्द से जल्द किसी भी घटना का पता चल सके और तुरंत घटनास्थल पर पहुंचकर मामले को बढ़ने से रोका जा सके।
  • योगी आदित्यनाथ ने राज्य में वीआईपी कल्चर को हटाने के लिए भी बड़ा कदम लिया, जिसके तहत इन्होंने सभी मंत्रियों को निजी गाड़ियों में लाल बत्ती का इस्तेमाल करने पर रोक लगा दिया।
  • इसी साल 2023 को योगी आदित्यनाथ ने उत्तर प्रदेश में हलाल सर्टिफिकेट से जुड़े फूड उत्पादों और उसके बिक्री पर प्रतिबंध लगा दिया।

निष्कर्ष

उपरोक्त लेख में उत्तर प्रदेश के वर्तमान मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के जीवन परिचय (Yogi Adityanath Biography in Hindi) के बारे में जाना।

इस लेख में हमने आपको योगी आदित्यनाथ का प्रारंभिक जीवन, उनकी शिक्षा, उनका परिवार और उनके राजनीतिक सफर के बारे में बताया।

हमें उम्मीद है कि इस लेख के माध्यम से योगी आदित्यनाथ के जीवन से जुड़ी सभी तरह के प्रश्नों का जवाब आपको मिल गया होगा। यदि यह लिख आपको पसंद आया हो तो इसे सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म के जरिए अन्य लोगों के साथ जरूर शेयर करें।

यह भी पढ़े

अमित शाह का जीवन परिचय

मायावती का जीवन परिचय

मनमोहन सिंह का जीवन परिचय

इंदिरा गांधी का जीवन परिचय

Rahul Singh Tanwar
Rahul Singh Tanwar
राहुल सिंह तंवर पिछले 7 वर्ष से भी अधिक समय से कंटेंट राइटिंग कर रहे हैं। इनको SEO और ब्लॉगिंग का अच्छा अनुभव है। इन्होने एंटरटेनमेंट, जीवनी, शिक्षा, टुटोरिअल, टेक्नोलॉजी, ऑनलाइन अर्निंग, ट्रेवलिंग, निबंध, करेंट अफेयर्स, सामान्य ज्ञान जैसे विविध विषयों पर कई बेहतरीन लेख लिखे हैं। इनके लेख बेहतरीन गुणवत्ता के लिए जाने जाते हैं।

Leave a Comment