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राष्ट्रीय लोकतांत्रिक पार्टी का इतिहास और उदय

आमतौर पर जब भी किसी राजनीतिक दल का गठन होना होता है तो कुछ नेता मिलकर एक संगठन बनाते हैं, विचार विमर्श करने के बाद वे अपने राजनीतिक दल का गठन करते हैं।

लेकिन राजस्थान के एक युवा नेता ने केवल एक ही हुंकार रैली में अपने राजनीति पार्टी का गठन किया। उन्होंने ना केवल इस पार्टी का गठन किया बल्कि एक ही साल में इस पार्टी ने काफी गती भी देखने को मिली।

पार्टी के गठन होने के बाद ही विधानसभा चुनाव में इन्होंने भारी जीत प्राप्त की और राजस्थान की विधानसभा में तीन सीटें प्राप्त की।

Rashtriya Loktantrik Party in Hindi

इतना ही नहीं पार्टी के गठन के एक साल बाद लोकसभा चुनाव में भी सासंद में एक सीट प्राप्त करने में सफल रही।

इस तरह राष्ट्रीय लोकतांत्रिक पार्टी राजस्थान प्रदेश की इकलौती ऐसी पार्टी है, जो बिना किसी नुकसान के सबसे ज्यादा राजनीतिक फायदा उठाने में आगे रही है।

इस लेख के माध्यम से हम राष्ट्रीय लोकतांत्रिक पार्टी के संस्थापक, इतिहास, इसका गठन वर्ष और इससे संबंधित अन्य जानकारी प्राप्त करेंगे।

राष्ट्रीय लोकतांत्रिक पार्टी (Rashtriya Loktantrik Party in Hindi)

पार्टी का नामराष्ट्रीय लोकतांत्रिक पार्टी
प्रसिद्ध नामरालोपा, आरएलपी, RLP
गठन कब हुआ29 अक्टूबर 2018
पार्टी अध्यक्षहनुमान बेनीवाल
मुख्यालय कहां हैनागौर स्टेडियम के सामने, नागौर (राज.)
पार्टी की विचारधाराजवान-किसान
अधिकारिक वेबसाइटrlpindia.org
पार्टी की विद्यार्थी शाखाIndian National Student Union
महासचिवचौधरी नेम सिंह
प्रदेश अध्यक्षश्री पुखराज गर्ग भोपालगढ़

राष्ट्रीय लोकतांत्रिक पार्टी के संस्थापक

राष्ट्रीय लोकतांत्रिक पार्टी के संस्थापक हनुमान बेनीवाल है, जो राजस्थान के एक जाने-माने युवा राजनेता है।

इन्होंने शुरुआत में भाजपा की सीट पर राजस्थान के खींवसर विधानसभा से चुनाव लड़ा था और इसमें जीत भी प्राप्त की थी।

लेकिन शुरुआत से ही किसानों के प्रति समर्थन भाव रखने वाले हनुमान बेनीवाल ने वसुंधरा राजे का विरोध किया था, जिसके कारण भाजपा ने इन्हें अपनी पार्टी से निष्कासित कर दिया।

जिसके कारण हनुमान बेनीवाल ने अपनी एक खुद के राजनीतिक दल का गठन करने का निर्णय लिया।

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राष्ट्रीय लोकतांत्रिक पार्टी का गठन कब हुआ

भाजपा से निष्कासित होने के बाद 29 अक्टूबर 2018 को राजस्थान के विधायक हनुमान बेनीवाल ने एक हुंकार रैली का आयोजन किया।

इस रैली में लाखों की तादाद में लोगों की भीड़ उमड़ी थी। इस रैली में वरिष्ठ नेता घनश्याम तिवारी और राष्ट्रीय लोक दल के प्रमुख जयंत सिंह भी मौजूद हुए थे।

इसी एक हुंकार रैली में हनुमान बेनीवाल ने राष्ट्रीय लोकतांत्रिक पार्टी के नाम से अपनी एक नई राजनीतिक दल के गठन करने का ऐलान किया।

दरअसल इस पार्टी का गठन करने का विचार हनुमान बेनीवाल ने राजस्थान के अगले विधानसभा चुनाव में चुनाव लड़ने के लिए किया था।

6 अक्टूबर 2018 को राजस्थान में विधानसभा चुनाव की तिथी घोषित हुई, उसी के बाद उन्होंने अपनी इस नई पार्टी का गठन किया।

राष्ट्रीय लोकतांत्रिक पार्टी का पहला विधानसभा चुनाव

29 अक्टूबर 2018 को हनुमान बेनीवाल ने राष्ट्रीय लोकतांत्रिक पार्टी के गठन करने के बाद ही पार्टी से प्रदेश में करीब 50 से ज्यादा प्रत्याशी राजस्थान विधानसभा चुनाव में खड़े किये।

जिनमें से इनके कई प्रत्याशी दूसरे और तीसरे नंबर पर रहे। चुनाव के अंत में परिणाम आया। इस पार्टी ने राजस्थान विधानसभा में 3 सीटें हासिल की।

जिसमें हनुमान बेनीवाल स्वयं खींवसर से खड़े हुए थे। वहीं इंदिरा देवी बावरी मेड़ता से खड़ी हुई थी और पुखराज गर्ग भोपालगढ़ से विधानसभा चुनाव के लिए खड़े हुए थे।

यह तीनों ही राजस्थान विधानसभा चुनाव में विधायक बने। इस तरह लोकतांत्रिक पार्टी के गठन के पहले ही वर्ष में इस पार्टी ने 3 विधायक प्राप्त किए।

एक नई पार्टी के लिए शुरुआत में ही 3 विधानसभा सीटें जितना अपने आप में एक बड़ी उपलब्धि है।

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लोकसभा चुनाव में राष्ट्रीय लोकतांत्रिक पार्टी का प्रदर्शन

राष्ट्रीय लोकतांत्रिक पार्टी के गठन होने के अगले ही साल 2019 में लोकसभा चुनाव का आयोजन हुआ, जिसमें भाजपा ने हनुमान बेनीवाल को अपनी पार्टी के साथ गठबंधन करने के लिए मना लिया।

फिर राष्ट्रीय लोकतांत्रिक पार्टी ने भाजपा के साथ गठबंधन किया और फिर भाजपा ने नागौर लोकसभा सीट से किसी भी प्रत्याशी को ना उतारते हुए राष्ट्रीय लोकतांत्रिक पार्टी के संस्थापक हनुमान बेनीवाल को वहां से चुनाव लड़ने के लिए समर्थन दिया।

हनुमान बेनीवाल यहां से चुनाव में खड़े हुए और जीत भी प्राप्त की। इस तरह हनुमान बेनीवाल राजस्थान के खींवसर से लोकसभा का चुनाव जीत गए और इस तरीके से राष्ट्रीय लोकतांत्रिक पार्टी भाजपा के गठबंधन से लोकसभा में भी एक सीट प्राप्त करने में सफल रही।

हनुमान बेनीवाल के सांसद बनने के बाद खींवसर विधानसभा की सीट खाली हो गई, जिसके बाद उपचुनाव का आयोजन हुआ और उसमें हनुमान बेनीवाल के बैनर तले उनके छोटे भाई नारायण बेनीवाल को चुनाव के लिए खड़ा किया गया। इन आम चुनाव में इन्होने जीत हासिल की।

सांसद बनने के बाद हनुमान बेनीवाल दिल्ली पहुंचे और वहां सांसद में शपथ ग्रहण के दौरान सबसे पहले इन्होंने अपने लोक देवता तेजाजी महाराज की जय बोली।

फिर सांसद में अपने पहले ही भाषण में खूब चर्चा में रहे। एक बार उनके संबोधन के दौरान पार्टी के सांसद रहे भगवंत मान ने इन्हें रोक लिया था।

जिसके बाद हनुमान बेनीवाल ने उन्हें जिस तरह जवाब दिया था, उसने मीडिया में खूब सुर्खियां बटोरी थी।

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राष्ट्रीय लोकतांत्रिक पार्टी के चुनाव चिन्ह को लेकर हुआ था मजाक

राष्ट्रीय लोकतांत्रिक पार्टी का जब गठन हुआ था तब साल 2018 के विधानसभा चुनाव के दौरान इस पार्टी का चुनाव चिन्ह पानी की बोतल थी।

उस समय भाजपा और कांग्रेस ने राष्ट्रीय लोकतांत्रिक पार्टी के चिन्ह को लेकर काफी मजाक उड़ाया था। लेकिन इस चुनाव में पार्टी के बेहतरीन प्रदर्शन ने उनके मुंह चुप कर दिए।

अपने पहले ही विधानसभा चुनाव में इस पार्टी ने 3 सीटों पर चुनाव जीते और अन्य कई सीटों पर दूसरे स्थान पर रही थी।

FAQ

राष्ट्रीय लोकतांत्रिक पार्टी के संस्थापक कौन है?

राष्ट्रीय लोकतांत्रिक पार्टी के संस्थापक राजस्थान के युवा नेता हनुमान बेनीवाल है।

राष्ट्रीय लोकतांत्रिक पार्टी की सांसद में कितनी सीटें हैं?

राष्ट्रीय लोकतांत्रिक पार्टी के गठन होने के अगले ही साल लोकसभा चुनाव में इस पार्टी ने सांसद में एक सीट प्राप्त की।

राष्ट्रीय लोकतांत्रिक पार्टी से कितने विधायक है?

राष्ट्रीय लोकतांत्रिक पार्टी के गठन होते ही राजस्थान विधानसभा चुनाव में इस पार्टी ने राजस्थान विधानसभा में तीन सीटें प्राप्त करने में सफल रही और वर्तमान में इस पार्टी के तीन विधायक है।

राष्ट्रीय लोकतांत्रिक पार्टी का चुनाव चिन्ह क्या है?

राष्ट्रीय लोकतांत्रिक पार्टी का चुनाव चिन्ह पानी का बोतल है।

क्या राष्ट्रीय लोकतांत्रिक पार्टी ने गठबंधन किया है?

साल 2019 के लोकसभा चुनाव में राष्ट्रीय लोकतांत्रिक पार्टी ने भारतीय जनता पार्टी के साथ गठबंधन करके चुनाव लड़ा था।

राष्ट्रीय लोकतांत्रिक पार्टी का लोकसभा चुनाव और राज्यसभा चुनाव में क्या प्रदर्शन रहा है?

राष्ट्रीय लोकतांत्रिक पार्टी ने अपने गठन के पहले ही वर्ष में राजस्थान विधानसभा में तीन सीटों पर जीत प्राप्त करने में सफल रही थी। वहीं साल 2019 के लोकसभा चुनाव में 1 सीट पर जीत प्राप्त की थी।

निष्कर्ष

इस तरह उपरोक्त लेख में आपने हनुमान बेनीवाल द्वारा गठित राजस्थान की नई राजनीतिक दल राष्ट्रीय लोकतांत्रिक पार्टी (Rashtriya Loktantrik Party in Hindi) के बारे में जाना।

आज के इस लेख में हमने आपको राष्ट्रीय लोकतांत्रिक पार्टी क्या है?, राष्ट्रीय लोकतांत्रिक पार्टी के संस्थापक कौन है?, राष्ट्रीय लोकतांत्रिक पार्टी का गठन कब हुआ था और इस पार्टी के द्वारा लोकसभा एवं विधानसभा चुनाव में किए गए प्रदर्शन के बारे में जाना।

वर्तमान में यह पार्टी राजस्थान की एक सफल पार्टी के रूप में उभर कर सामने आ रही है। हमें उम्मीद है कि इस लेख के जरिए राष्ट्रीय लोकतांत्रिक पार्टी से संबंधित सभी प्रश्नों का जवाब आपको मिल गया होगा।

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Rahul Singh Tanwar
Rahul Singh Tanwar
राहुल सिंह तंवर पिछले 7 वर्ष से भी अधिक समय से कंटेंट राइटिंग कर रहे हैं। इनको SEO और ब्लॉगिंग का अच्छा अनुभव है। इन्होने एंटरटेनमेंट, जीवनी, शिक्षा, टुटोरिअल, टेक्नोलॉजी, ऑनलाइन अर्निंग, ट्रेवलिंग, निबंध, करेंट अफेयर्स, सामान्य ज्ञान जैसे विविध विषयों पर कई बेहतरीन लेख लिखे हैं। इनके लेख बेहतरीन गुणवत्ता के लिए जाने जाते हैं।

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