Raja Mahendra Pratap Singh Biography in Hindi: नमस्कार दोस्तों, आज हम सभी लोगों को बताने वाले हैं, भारत के एक ऐसे व्यक्ति के विषय में जो भारतीय इतिहास में स्वतंत्रता सेनानी के रूप में अपना एक विशेष स्थान रखते हैं। भारत के इस महान स्वतंत्रता सेनानी का नाम राजा महेंद्र प्रताप सिंह है। राजा महेंद्र प्रताप सिंह लेखक पत्रकार और एक क्रांतिकारी भी रह चुके हैं। राजा महेंद्र प्रताप सिंह के जज्बे और योगदान को देखते हुए भारत सरकार के द्वारा उनके सम्मान में एक डाक टिकट घर जारी किया गया था।
इतना ही नहीं राजा महेंद्र प्रताप सिंह प्रथम विश्वयुद्ध के दौरान भारत के अस्थाई भारतीय सरकार के द्वारा चुने गए राष्ट्रपति बने थे। पुराने समय में यह एक निर्वाचित भारतीय सरकार हुआ करती थी। भारत के आजादी के बाद आजाद भारत में राजा महेंद्र प्रताप सिंह ने समाज सुधारक के रूप में भी विशेष कार्य किया। अतः इन्हें समाज सुधारक राजा महेंद्र प्रताप सिंह के नाम से भी जाना जाता है। राजा महेंद्र प्रताप सिंह ने इस देश की आजाद होने में भी क्रांतिकारी के रूप में कार्य किया और देश आजाद होने के बाद समाज सेवक के रूप में विशेष योगदान दिया।
महेंद्र प्रताप सिंह के सम्मान में 14 सितंबर वर्ष 2021 आज के ही दिन अलीगढ़ में राजा महेंद्र प्रताप सिंह के नाम पर एक यूनिवर्सिटी बनाने की शुरुआत की जा रही है। राजा महेंद्र प्रताप सिंह के नाम पर बनने वाले इस यूनिवर्सिटी का की आधारशिला का निर्वाचन भारत के वरिष्ठ नेता एवं प्रधानमंत्री श्री नरेंद्र मोदी जी के द्वारा किया जाएगा। इसी कारण से वर्तमान समय में राजा महेंद्र प्रताप सिंह के नाम पर बनने वाली यह यूनिवर्सिटी बहुत ही ज्यादा चर्चे में है।
अब तक से पहले कोई भी व्यक्ति राजा महेंद्र प्रताप सिंह के विषय में कोई विशेष जानकारी नहीं जानता था। परंतु वर्तमान समय में सभी लोग यह जानने के लिए इंटरनेट पर इधर-उधर सर्च कर रहे हैं कि महेंद्र प्रताप सिंह कौन है। यदि आप भी ऐसा ही सर्च कर रहे हैं तो हमारा यह लेख आपके लिए बहुत ही जानकारियों से भरा हुआ होगा।
आप सभी लोगों को इस लेख में जाने को मिलेगा कि राजा महेंद्र प्रताप सिंह कौन है? राजा महेंद्र प्रताप सिंह का जन्म, राजा महेंद्र प्रताप सिंह का पारिवारिक संबंध क्या है? राजा महेंद्र प्रताप सिंह को प्राप्त शिक्षा, राजा महेंद्र प्रताप सिंह से जुड़ा हुआ इतिहास इत्यादि।
राजा महेंद्र प्रताप सिंह का जीवन परिचय | Raja Mahendra Pratap Singh Biography in Hindi
राजा महेंद्र प्रताप सिंह के विषय में संक्षिप्त जानकारी
नाम | महेंद्र प्रताप सिंह |
उपनाम | राजा महेंद्र प्रताप सिंह |
जन्म | 1 दिसंबर 1886 |
जन्म स्थान | हाथरस, उत्तर प्रदेश |
जाति | जाट |
पेशा | स्वतंत्रता सेनानी और राजनीतिज्ञ |
पुरस्कार | नोबेल पुरस्कार |
राजा महेंद्र प्रताप सिंह कौन है?
राजा महेंद्र प्रताप सिंह भारत के इतिहास में स्वतंत्रा सेनानी के रूप में अपनी एक विशेष पहचान रखते हैं। परंतु क्रांतिकारी होने के साथ-साथ दिया पत्रकार और लेखक भी रह चुके हैं। राजा महेंद्र प्रताप सिंह जी के योगदान को देखते हुए भारत सरकार के द्वारा उनके सम्मान में एक डाक टिकट भी बनवाया गया है। राजा महेंद्र प्रताप सिंह ने प्रथम विश्व युद्ध के दौरान भारत सरकार के द्वारा राष्ट्रपति चुने गए और उस समय भारत में निर्वाचित भारतीय सरकार थी।
भारत के इस महान स्वतंत्रता सेनानी का नाम राजा महेंद्र प्रताप सिंह है। राजा महेंद्र प्रताप सिंह लेखक पत्रकार और एक क्रांतिकारी भी रह चुके हैं। राजा महेंद्र प्रताप सिंह के जज्बे और योगदान को देखते हुए भारत सरकार के द्वारा उनके सम्मान में एक डाक टिकट घर जारी किया गया था।
इतना ही नहीं राजा महेंद्र प्रताप सिंह प्रथम विश्वयुद्ध के दौरान भारत के अस्थाई भारतीय सरकार के द्वारा चुने गए राष्ट्रपति बने थे। पुराने समय में यह एक निर्वाचित भारतीय सरकार हुआ करती थी। भारत के आजादी के बाद आजाद भारत में राजा महेंद्र प्रताप सिंह ने समाज सुधारक के रूप में भी विशेष कार्य किया। अतः इन्हें समाज सुधारक राजा महेंद्र प्रताप सिंह के नाम से भी जाना जाता है।
राजा महेंद्र प्रताप सिंह ने इस देश की आजाद होने में भी क्रांतिकारी के रूप में कार्य किया और देश आजाद होने के बाद समाज सेवक के रूप में विशेष योगदान दिया। राजा महेंद्र प्रताप सिंह हाथरस जिले के एक मुरसान जमींदार स्टेट के शाही जाट परिवार में जन्म लिए थे और इतना ही नहीं हम आपको बता दें तो राजा महेंद्र प्रताप सिंह राजा घनश्याम सिंह के तीसरे संतान थे।
राजा महेंद्र प्रताप सिंह का जन्म
आइए हम सभी लोग जानकारी प्राप्त करते हैं, राजा महेंद्र प्रताप सिंह के जन्म के विषय में। राजा महेंद्र प्रताप सिंह का जन्म उत्तर प्रदेश राज्य के हाथरस जिले में स्थित एक शाही जाट परिवार में हुआ था। राजा महेंद्र सिंह के पिता एक राजा हुआ करते थे। अतः इनके पास इतनी संपत्ति थी कि इन्हें कभी विशेष रूप से किसी ऐसी चीज की आपूर्ति नहीं हुई जो ही नहीं चाहिए होती थी।
अतः आप सभी लोगों को यह बता देना चाहते हैं कि राजा महेंद्र प्रताप सिंह का जन्म एक शाही परिवार में हुआ था अगर इनका बचपन बहुत ही कुशलतापूर्वक एवं अच्छे से व्यतीत हुआ था। राजा महेंद्र प्रताप सिंह ने अपने जीवन में अनेकों प्रकार के संघर्ष किए और इन्होंने अपनी संघर्षों के बदौलत इतनी प्रसिद्धि हासिल की। राजा महेंद्र सिंह के पिता बड़े ही जांबाज एवं दयालु राजा हुआ करते थे और अपने पिता के गुड़ के साथ इन्होंने अपने राज्यभर को संभाला।
राजा महेंद्र प्रताप सिंह का पारिवारिक
राजा महेंद्र सिंह के पारिवारिक संबंध के विषय में अब तक तो हम सभी लोगों को जानकारी प्राप्त नहीं हुई है, जैसे ही हमें राजा महेंद्र सिंह के पारिवारिक संबंध के विषय में जानकारी प्राप्त होती है। हम आप सभी लोगों को इस लेख में अपडेट के माध्यम से अवश्य बताएंगे।
राजा महेंद्र प्रताप सिंह के पिता का नाम राजा घनश्याम सिंह था। राजा महेंद्र प्रताप सिंह राजा घनश्याम सिंह के तीसरे पुत्र थे। राजा महेंद्र प्रताप सिंह ने अपने पिता राजा घनश्याम सिंह से प्रेरणा प्राप्त की और राजपाट की सभी जानकारियां एकत्रित की यही कारण है कि यह बहुत ही कुशलतापूर्वक राजनीतिक पद को संभाले हुए थे।
राजा महेंद्र प्रताप सिंह को प्राप्त शिक्षा
आइए अब जानकारी प्राप्त करते हैं, राजा महेंद्र प्रताप सिंह के प्रारंभिक शिक्षा एवं उनके संपूर्ण शैक्षणिक योग्यताओं के विषय में। राजा महेंद्र प्रताप सिंह ने अपनी प्रारंभिक पढ़ाई अलीगढ़ में ही स्थित एक सरकारी विद्यालय से प्राप्त की थी, प्रारंभिक शिक्षा प्राप्त करने के बाद इन्होंने जल्दी ही मोहम्मदान एंग्लो ओरिएंटल कॉलेज में अपना एडमिशन करा लिया। वर्तमान समय में यह विद यूनिवर्सिटी अलीगढ़ मुस्लिम यूनिवर्सिटी के नाम से जानी जाती है। इस यूनिवर्सिटी से इन्होंने इसी यूनिवर्सिटी के संस्थापक सर सैयद अहमद खान से शिक्षा प्राप्त की और अपने जीवन में आगे बढ़े।
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क्यों है चर्चा में राजा महेंद्र प्रताप सिंह
अभी हाल ही में एक बैठक के बाद यह निर्णय लिया गया है कि महेंद्र प्रताप सिंह के सम्मान में 14 सितंबर वर्ष 2021 को अलीगढ़ में राजा महेंद्र प्रताप सिंह के नाम पर एक यूनिवर्सिटी बनाई जाएगी। इतना ही नहीं राजा महेंद्र प्रताप सिंह के नाम पर बनने वाले इस यूनिवर्सिटी का की आधारशिला की नीव भारत के वरिष्ठ नेता एवं प्रधानमंत्री श्री नरेंद्र मोदी जी के द्वारा किया जाएगा।
इसी कारण से वर्तमान समय में राजा महेंद्र प्रताप सिंह के नाम पर बनने वाली यह यूनिवर्सिटी बहुत ही ज्यादा चर्चे में है और यही कारण है कि राजा महेंद्र प्रताप सिंह के विषय में लोग जानने के लिए इच्छुक हैं। इन्होंने आखिर ऐसा क्या किया था कि इनके नाम पर यह यूनिवर्सिटी बनाई जा रही है।
राजा महेंद्र प्रताप सिंह को प्राप्त पुरस्कार
महाराजा महेंद्र प्रताप सिंह द्वितीय युद्ध के दौरान जापान में रह रहे थे। महाराजा महेंद्र प्रताप सिंह ने अपने देश को आजाद कराने के प्रयासों को नहीं छोड़ा। इसी कारण 1946 ईस्वी में अंग्रेजी सरकार ने उन पर लगाए गए सभी इल्जामों को वापस ले लिया और इसी के कारण यह लगभग 32 वर्ष बाद अपने देश वापस लौटे थे।
जापान से वापस लौटने के बाद आजादी के बाद इन्होंने आम आदमी के अधिकारों के लिए भ्रष्टाचार और नौकरशाही संघर्षों के खिलाफ विशेष आंदोलन किया और लोगों को भ्रष्टाचार और नौकरशाही अत्याचारों से मुक्त किया। इसी कारण इन्हें वर्ष 1932 ईस्वी में भारत के श्रेष्ठ पुरस्कार नोबेल पुरस्कार से सम्मानित किया गया।
राजा महेंद्र प्रताप सिंह का काबुल से जापान तक का सफर
राजा महेंद्र प्रताप सिंह ने 1 दिसंबर 1915 ईस्वी में लगभग 2000 सैनिकों के साथ काबुल पहुंचे थे। राजा महेंद्र प्रताप सिंह ने काबुल पहुंचने के बाद अपनी एक अस्थाई भारतीय सरकार का गठन किया, अतः इन्हीं के द्वारा बनाए गए सरकार को भारत का निर्वासित सरकार कहा जाता है।
राजा महेंद्र प्रताप सिंह राष्ट्रपति बने और इन्होंने देश की अर्थव्यवस्था एवं शासन को अनुशासन नियुक्त करने के लिए मौलवी बरकतउल्ला को प्रधानमंत्री, मौलवी उबैदुल्लाह सिंगी को गृह मंत्री नियुक्त किया।
क्रांतिकारी कार्य प्रणाली के तौर पर उनकी लेलिन से भी नजदीकियां बढ़ती चली गई और इसी बीच राजा महेंद्र प्रताप सिंह को अंग्रेजों। के द्वारा उनके सर पर इनाम रखकर उन्हें भगोड़ा घोषित कर दिया, जिसके कारण इन्हें काबुल से निकल कर के जापान जाना पड़ा। ऐसी ही रही राजा महेंद्र प्रताप सिंह कि काबुल से जापान तक की यात्रा।
निष्कर्ष
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