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अभी मेरे दिमाग में क्या चल रहा है?

Abhi Mere Dimag Me Kya Chal Raha Hai : आपके दिमाग में क्या चल रहा है? यह प्रश्न बहुत ही रोचक है। हम अक्सर यह प्रश्न अलग-अलग भाव में किसी अन्य व्यक्ति से पूछते हैं। जब हम किसी से गुस्से में होते हैं, तब हम उससे पूछते हैं कि आपके दिमाग में क्या चल रहा है? या कोई व्यक्ति कुछ योजना बना रहा है तब हम उससे पूछते हैं कि आपके दिमाग में क्या चल रहा है?

यदि कोई व्यक्ति यह कहे कि मैं बता सकता हूं आपके दिमाग में क्या चल रहा है? तो यह सुनने में अटपटा लग सकता है। यहां तक कि बहुत से लोग तो इन प्रश्नों का जवाब इंटरनेट पर भी ढूंढते हैं।

Abhi Mere Dimag Me Kya Chal Raha Hai
Image: Abhi Mere Dimag Me Kya Chal Raha Hai

और बहुत बार इंटरनेट पर लोग दिमाग में क्या चल रहा है? पता करने की ट्रिक्स फाइंड करते हैं ताकि वह दूसरे के दिमाग को पढ़ सके। बता दे कि यदि आप इस तरह की कोई भी ट्रिक्स को फॉलो करते हैं तो आप इसमें सफल नहीं होने वाले हैं क्योंकि किसी के भी दिमाग को पढ़ना इतना आसान नहीं होता।

वैसे क्या कोई हमारे दिमाग को पढ़ सकता है? आज की इस लेख में हम इस चीज के बारे में जानने वाले हैं। अभी मेरे दिमाग में क्या चल रहा है? यदि आप भी इसका जवाब जानना चाहते हैं तो इस लेख को अंत तक जरूर पढ़ें। आज का यह यह लेख बहुत ही रोचक होने वाला है।

अभी मेरे दिमाग में क्या चल रहा है? | Abhi Mere Dimag Me Kya Chal Raha Hai

दिमाग और मन में अंतर

आपके दिमाग में क्या चल रहा है? आपके मन में क्या चल रहा है? शायद आपने इन दोनों तरह के प्रश्न को सुने होंगे हालांकि ज्यादातर लोगों को यह दोनों प्रश्न एक ही लगते हैं क्योंकि ज्यादातर लोग मन और दिमाग दोनों को एक ही समझते हैं। वैसे आपके दिमाग में क्या चल रहा है इसके बारे में जानने से पहले हम दिमाग और मन में क्या अंतर है इसके बारे में जानते हैं।

दिमाग आपके शरीर का एक शारीरिक अंग है। इसे अंग्रेजी भाषा में ब्रेन भी कहा जाता है। आप इसे देख सकते हैं, छू सकते हैं। यह दिमाग हमारे शरीर में कपाल में स्थित होता है। सिर के पिछले हिस्से को कपाल कहा जाता है। दिमाग का कार्य चीजों को सही तरीके से समझना,पहचान करना, याद रखना होता है।

आपकी जानकारी के लिए बता दें कि एक मानव का दिमाग का औसतन वजन 1.3 किलोग्राम के लगभग होता है और दिमाग के सोचने की रफ्तार 428 किलोमीटर प्रति घंटा होती है।

आपका दिमाग पलभर में ही चीजों को पहचान जाता है और संकेत देकर आपको उस हिसाब से कार्य करने के लिए कहता है। उदाहरण के लिए यदि आप किसी गर्म चीज को छू लेते हैं तो मिली सेकंड में हीं आपका दिमाग आपको उस चीज से दूर होने का संकेत दे देता है।

इस तरह दिमाग एक बहुत बड़ी मेमोरी है जिसमें बहुत सारी जानकारी संग्रहित की जा सकती है। बता दें कि जब आपका दिमाग काम करता है, तो यह 23 वाट बिजली उत्पादन करने की क्षमता के बराबर पावर पैदा करता है। इस तरह मानव जो भी कार्य करता है, वह अपने दिमाग के द्वारा दी गई सूचना के अनुसार ही करता है।

बात करें मन कि तो मन को ना छुआ जा सकता है ना देखा जा सकता है। यह तो भावना, इमैजिनेशन, एटीट्यूड, विभिन्न प्रकार के भाव होते हैं। दिमाग मन और चेतना के साथ सामंजस्य बनाकर कार्य करता है।

आपको कोई खुशी का खबर सुनाता है, तो जो खुशी के भाव होते हैं वह आपके मन में पहले उत्पन्न होते हैं और मन आपके दिमाग को संकेत देता है और फिर दिमाग जो है वह आपके चेहरे पर उस खुशी के एक्सप्रेशन को पैदा करता है, जिससे सामने वाले व्यक्ति को पता चलता है कि आप खुश हैं।

इस तरह कह सकते हैं कि खुशी, दुख, क्रोध आदि भावनाएं मन से जुड़ी होती है और मन दिमाग को संकेत देता है जिसके कारण वह भाव चेहरे पर उभर कर आते हैं। इंसान चाहे तो अपने भावनाओं को छुपा सकता है। उदाहरण के लिए यदि कोई व्यक्ति बहुत खुश है तो, वह मन ही मन बहुत खुश है लेकिन वह अपने चेहरे पर उदासी का नकाब पहन सकता है। इंसान चेहरे पर भावनाओं को लाने से रोक सकता है परंतु अपने मन में भाव उत्पन्न होने से नहीं रोक सकता।

दिमाग में क्या चल रहा है कैसे पता करें?

यदि कोई आपसे कहे कि आपके दिमाग में क्या चल रहा है मैं बता सकता हूं तो आप निश्चित ही उस चीज को हंसी में ले लेंगे। क्योंकि बहुत से लोग सोचते हैं कि किसी व्यक्ति के दिमाग में क्या चल रहा है? यह केवल भगवान जान सकता है कोई इंसान कैसे बता सकता है?

बता दें कि अगर कोई आपसे इस तरह कह रहा है?, तो वह भले ही झूठ बोल रहा हो लेकिन यह सच हो सकता है। एक इंसान दूसरे इंसान के दिमाग को पढ सकता है। लेकिन यह मनोवैज्ञानिक ही पढ़ सकते हैं जिन्हें इसके बारे में जानकारी होती है।

मन को पढ़ने की कला आती है। यदि कोई मनोवैज्ञानिक आपके दिमाग में क्या चल रहा है बता देता है तो इसका मतलब यह नहीं कि वह चमत्कारी है, वह जादू से सब कुछ जान रहा है बल्कि वह आपके शारीरिक भाव से पता लगाता है।

उदाहरण के लिए यदि आप किसी दोस्त से चैटिंग कर रहे हैं और आप मन ही मन मुस्कुरा रहे हैं, तो उस व्यक्ति को पता है कि आप निश्चित ही दूसरे व्यक्ति से कुछ खुशी की बात शेयर कर रहे हैं। मान लीजिए कोई व्यक्ति बार-बार अपने हाथों की उंगली को फोड़ रहा है तो इसका मतलब कि वह व्यक्ति घबरा रहा है। मानव के इसी तरह के एक्टिविटी से मनोवैज्ञानिक जान जाते हैं कि दिमाग में क्या चल रहा है?

इसी तरह हिप्नोटाइज करके भी जाना जा सकता है कि आपके दिमाग में क्या चल रहा है? जब कोई व्यक्ति आपको हिप्नोटाइज कर देता है तो आपके दिमाग को वह पूरी तरह कंट्रोल कर देता है आपके सोचने की शक्ति थम जाती है। उसके बाद आप वही बोलते हैं जो सामने वाला व्यक्ति आपको पूछता है।

क्या गूगल बता सकता है आपके दिमाग में क्या चल रहा है?

आज के इंटरनेट के समय में आपको सभी प्रकार की जानकारी इंटरनेट पर वर्चुअल रूप में मिल जाती है। गूगल जो एक आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस हैं। गूगल के द्वारा विकसित गूगल असिस्टेंट के बारे में भी आपने सुना होगा जो आजकल काफी ज्यादा सुर्खियों में है। क्योंकि यदि आप गूगल असिस्टेंट को कुछ भी कहते हैं तो वह आपकी इच्छा के अनुसार जानकारी को पेश करता है।

उदाहरण के लिए यदि आप गूगल असिस्टेंट को कहते हैं कि आज का मौसम कैसा है?, तो वह आपको मौसम की जानकारी दिखाता है, उससे चुटकुले सुनना चाहते हैं तो आपको चुटकुले भी सुनाएगा। यही कारण है कि बहुत से लोग गूगल असिस्टेंट पर कुछ भी प्रश्न कर देते हैं। क्योंकि उन्हें लगता है कि गूगल असिस्टेंट बिल्कुल मानव की तरह सब कुछ जान सकता है।

यही कारण है कि बहुत से लोग गूगल असिस्टेंट से भी जाने की कोशिश करते हैं कि उनके दिमाग में क्या चल रहा है? आपको क्या लगता है यदि आप गूगल असिस्टेंट को यह प्रश्न पूछेंगे तो क्या गूगल असिस्टेंट आपको सटीक जवाब दे पाएगा?

वैसे तो गूगल की मेमोरी बहुत बड़ी है। उसमें ना जाने कितने ही लाखों करोड़ों जानकारी सेव किए गए हैं और वह जानकारी यदि आप 50 सालों के बाद भी खोजते हैं तब भी आपको देखने को मिल जाता है। लेकिन क्या आपके प्रश्न का जवाब गूगल असिस्टेंट दे पाएगा।

तो बता दे कि गूगल असिस्टेंट को “हेलो गूगल असिस्टेंट मेरे दिमाग में क्या चल रहा है?” यह प्रश्न पूछेंगे तो गूगल असिस्टेंट आपको कुछ इस प्रकार का जवाब दे सकता है “आपको गाने सुनने का मन कर रहा है, आपको चुटकुले सुनने का मन कर रहा है”।

यानी कि गूगल असिस्टेंट आपको वही चीज के बारे में बताएगा जो प्रोडक्ट उसके पास है। गूगल असिस्टेंट पर आपको उन्ही प्रश्न का जवाब मिलता है जिसके बारे में जानकारी लोगों ने पहले से ही इस पर डाल के रखी हैं। कोई साइकोलॉजिस्ट अपने हिसाब से आपके प्रश्न का जवाब इस पर पहले से ही फिड किया होगा तब गूगल असिस्टेंट उन्ही जानकारी को आपके जवाब के रूप में दिखाएगा।

ध्यान रहे कि गूगल असिस्टेंट कोई मानव या कोई मनोवैज्ञानिक नहीं है, जो आपको हिप्नोटाइज करके आपके मन की बात जान सकता है। इसे इंसानों के द्वारा ही बनाया गया है। इसीलिए आप यहां पर लिमिटेड प्रश्नों का ही उत्तर जान सकते हैं।

दिमाग पढ़ने वाली मशीन

सच और झूठ बताने वाली मशीन यानी लाई डिटेक्टर के बारे में तो सब ने हीं सुना होगा, जो इंसान के सच या झूठ को पकड़ लेता है। लेकिन क्या ऐसी कोई मशीन या तकनीकी का निर्माण किया गया है जो किसी भी इंसान के दिमाग में क्या चल रहा है? उसे बता सके। ऐसे तो अभी भी बहुत से वैज्ञानिकों के द्वारा दिमाग पढ़ने वाली तकनीक के विकास पर कार्य किया जा रहा है।

कुछ लोगों ने तो दिमाग पढ़ने वाली मशीन का निर्माण भी कर दिया है, जो वैज्ञानिक दिमाग पढ़ने वाली तकनीकी के विकास पर कार्य कर रहे हैं। उनके अनुसार जो मशीन का निर्माण किया जाएगा वह मशीन मानव के दिमाग को स्कैन कर उसके दिमाग में चल रही बातों को सिम्बोल के रूप में प्रस्तुत कर सकता है। जो इंसान और कंप्यूटर के बीच टेलीपैथिक कनेक्शन की दिशा में बड़ा कदम होगा।

हो सकता है ऐसी मशीनों से इंसान के सपनों का भी पता लगाया जा सकता है। वैज्ञानिकों का मानना है कि इस तरह की मशीन जब इंसान के एमआरआई ब्रेन स्कैन किये जाएंगे, तब वह मनुष्य जो सोचेगा वहीं चीजों का सिम्बोल पेश करेगा।

FAQ

अभी मेरे दिमाग में क्या चल रहा है कौन बता पाएगा?

अभी मेरे दिमाग में क्या चल रहा है इसका जवाब आप किसी Hypnotist से जान सकते हैं।

क्या दिमाग को पढ़ने वाली कोई मशीन है?

किसी के दिमाग में क्या चल रहा है? इसे जान सके ऐसी तो अभी तक कोई भी टेक्नोलॉजी नहीं आई है। हालांकि कुछ वैज्ञानिक आज भी इस तरह की तकनीक को बनाने में जुटे हुए हैं जो किसी भी व्यक्ति के दिमाग को पढ़ सकें।

व्यक्ति के कार्यों पर किसका नियंत्रण रहता है?

हम जो भी कार्य करते हैं, उस पर दिमाग का नियंत्रण रहता है। दिमाग जो सूचना अंगों को देता है वह अंग उसी अनुसार कार्य करता है।

दुनिया में सबसे तेज दिमाग किसका है?

कई लोग मानते हैं कि दुनिया में सबसे तेज दिमाग अल्बर्ट आइंस्टीन का था लेकिन इसके अतिरिक्त कुछ ऐसे भी लोग हैं जिनका दावा है कि उन से भी तेज दिमाग वाले लोग इस दुनिया में है।

दिमाग कमजोर क्यों होता है?

दिमाग की नसों का कमजोर होने के कई कारण हो सकते हैं जैसे कि दिमाग पर कभी चोट लगना या किसी नस का दब जाना या पोषक तत्व की कमी होना इत्यादि।

निष्कर्ष

आज के लेख में हमने आपको बताया कि अभी मेरे दिमाग में क्या चल रहा है?( Abhi Mere Dimag Me Kya Chal Raha Hai)। बता दे हो सकता है बहुत से लोग आपको कहे कि वह आपके दिमाग को पढ़ सकते हैं ऐसे लोग फ्रॉड होते हैं क्योंकि आपके दिमाग में क्या चल रहा है वह केवल आप ही जानते हैं।

हालांकि वह बात अलग है कोई व्यक्ति आपको हिप्नोटाइज करके या आपके शारीरिक भावनाओं को देख करके बता सकता है लेकिन स्पष्ट रूप से कभी नहीं बता सकता कि आपके दिमाग में क्या चल रहा है? क्योंकि खुद के दिमाग को कंट्रोल आप खुद ही कर सकते हैं।

इसलिए आप सोचते हैं कि आप गूगल या इंटरनेट पर इस तरह के प्रश्न का जवाब खोजेंगे तो आपको सटीक जवाब कभी नहीं मिलेगा। हालांकि साइकोलॉजी की पढ़ाई करके इस स्कील को डेवलप करके व्यक्ति के भाव के आधार पर थोड़ा बहुत बता सकते हैं कि उसके दिमाग में क्या चल रहा है?

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