आज के इस लेख में हम भारतीय किसान निबंध इन हिंदी (Essay on Indian Farmer in Hindi) आप तक पहुंचाने वाले हैं। इस निबंध में भारतीय किसान के संदर्भित सभी माहिति को आपके साथ शेयर किया गया है। यह निबंध सभी कक्षाओं के विद्यार्थियों के लिए मददगार है।
भारत में किसान को भगवान का दर्जा दिया जाता है। वर्तमान समय में भारत में लगभग 60% लोग खेती पर निर्भर है और इन लोगों द्वारा की गई खेती से भारत के हर व्यक्ति को खाना मिलता है।
भारत में किसान का महत्व काफी अधिक है। किसान के बिना देश भूख से मर जाएगा और भविष्य में भी भुखमरी का सामना करना पड़ सकता है। क्योंकि आज के समय में आज की युवा जनरेसन खेती करने से दूर जा रही है।
आज के समय में जो व्यक्ति किसान की भूमिका निभा रहे हैं, वे देश के लिए सबसे सम्मानजनक व्यक्ति है। हमारा देश भारत जिसे कृषि प्रधान देश भी कहा जाता है। यहां की अधिकतर जनसंख्या खेती-बाड़ी पर निर्भर है और खेती-बाड़ी करके ही यहां के लोग अपना गुजारा चलाते हैं।
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भारतीय किसान पर निबंध (Essay on Indian Farmer in Hindi)
आज भले ही विज्ञान कितनी तेजी से विकास क्यों ना कर रहा हो लेकिन भारत के किसान आज भी सादगी पूर्ण जीवन जीते हैं। भारत के किसान के कड़े मेहनत और संघर्ष से हर एक भारतीय युवाओं एवं बच्चों को परिचित होने की जरूरत है।
इसलिए आज के इस लेख में हम 100, 150, 200, 250, 300, 500 और 1000 शब्दों में भारतीय किसान पर निबंध हिंदी में (Bhartiya Kisan Par Nibandh) लेकर आए हैं।
भारतीय किसान पर निबंध 100 शब्दों में
भारत और भारत के किसानों का संबंध काफी गहरा है। क्योंकि भारत की ज्यादातर जनसंख्या किसान ही है, खेतों से उनका संबंध वर्षों से हैं। भारतीय किसान किसान का जीवन सादगी से भरा हुआ है।
वह सादा खाना खाता है, सादे कपड़े पहनता है और सादा जीवन व्यतीत करता है। समय की कमी के कारण उसकी आवश्यकता भी काफी सीमित है। एक किसान को वर्षा के अतिरिक्त कुछ भी नहीं चाहिए होता है।
वह हर साल अच्छे वर्षा की उम्मीद रखता है ताकि उसकी अच्छी फसल हो सके। लेकिन प्रकृति भी कभी कबार उसके साथ खेल खेलती हैं। कभी वर्षा ही नहीं होती तो कभी अत्यधिक वर्षा होती है।
कम वर्षा के कारण कभी उसकी फसल ही नहीं उग पाती वहीं अत्यधिक वर्षा के कारण फसल ही बर्बाद हो जाती है। यूं कहे कि किसान का जीवन उतार-चढ़ाव से भरा हुआ है।
लेकिन, भारतीय किसान इतने कमजोर नहीं कि वे प्रकृति के सामने घुटने टेक देंगे, हार मान जाएंगे। किसान के संघर्ष के सामने प्रकृति भी झुक जाती हैं। क्योंकि किसान हर एक परिस्थितियों का सामना करना जानता है।
हर दिन खेतों में काम करके उसका शरीर जितना मजबूत हो चुका है, उतना ही मजबूत उसका दिल भी हो चुका है। इसलिए भारत के किसान सभी तरह के संघर्ष को झेलने के लिए तैयार रहते हैं।
भारतीय किसान पर निबंध 150 शब्दों में
धरती के समूचे प्राणियों के जीवन के लिए अन्न उपजाने वाला भारतीय किसान बहुत परोपकारी एवं मेहनती होता है। किसान साल भर अपने खेतों में मेहनत करता है।
लेकिन जब उसके खेत में हरे हरे फसल लहलहा ने लगते हैं तब उसकी सारी मेहनत और थकान गायब हो जाती है। एक किसान के लिए हरे भरे लहराते फसल को देखना ही सबसे बड़ा सुख है।
वह गर्मी के कड़कती धूप में भी काम करता है और सावन के बरसते बारिश में भी काम करता है। यू कंहे किसान जीवन भर मेहनत करता है। किसानों का जीवन संघर्ष से भरा हुआ है, जो किसान पूरे देश को अन्न देता है। किसी दिन उसी किसान के घर भोजन नहीं बन पाता।
एक किसान देशभर को फल, साग, सब्जी आदि चीजें देता है लेकिन उसकी मेहनत के सामने उसका पारिश्रमिक कुछ भी नहीं है। जिस कारण किसानों को कई बार कर्ज में डूब जाना पड़ता है और यही कारण है कि हर साल कितने ही किसान फांसी लगाकर आत्महत्या कर लेते हैं, जो देश के लिए बहुत ही शर्म की बात है।
जिस किसान के कारण पूरे देश के लोग पेट भर कर खाना खा पाते हैं, जिन्हें भोजन प्राप्त हो पाता है वही किसान जब दुख में हो, वे अपना जीवन गरीबी में व्यतीत करें, संघर्षपूर्ण जीवन जिए तो उससे बड़ी दुख की बात एक देश के लिए क्या हो सकता है।
हालांकि अब भारत सरकार भी किसानों के उन्नति एवं खेती के अतिरिक्त अन्य आय के स्त्रोत के लिए कई प्रकार की योजना चला रही है, जिसमें से एक पीएम किसान योजना किसानों के लिए आशीर्वाद के समान ही हैं।
भारतीय किसान पर निबंध 200 शब्दों में
देश की अर्थव्यवस्था का एक प्रमुख स्तम्भ भारत के किसान है। देश के विकास में भारत के किसान के योगदान के सामने पूरा देश नमन करता है। भारत के किसान तो करुणा के सागर हैं। जो किसान देश के लोगों के लिए अन्न उपजाता है, उसी किसान को कितने बार भोजन नहीं नसीब हो पाता।
भारत के किसानों की खेती पूरी तरह प्रकृति पर निर्भर रहती है। प्रकृति ने साथ दिया तो अच्छी फसल होगी यदि प्रकृति ने धोखा दिया तो उनका फसल बर्बाद हो सकता है। एक किसान का जब फसल बर्बाद हो जाता है या जिस वर्ष वह खेती नहीं कर पाता, उस पूरे साल का हर एक दिन उस किसान के लिए संघर्ष से भरा रहता है।
क्योंकि बहुत से किसान खेती करने के लिए कर्ज लिए रहते हैं और उन्हें यही उम्मीद रहती है कि फसल अच्छी होगी तो वह समय पर कर्ज चुका देंगे। लेकिन प्रकृति जब उनके साथ खेल खेलती हैं तो वे अपने ईमानदारी से चुक जाते हैं। कर्ज न चुका पाने के कारण वे मौत को गले लगा लेते हैं।
भारत में प्राचीन काल से ही भारत के किसानों के साथ काफी शोषण होता रहा है। लेकिन अब किसानों का जीवन भी धीरे-धीरे सुधर रहा है। भारतीय किसानों के जीवन को सुधारने में भारत सरकार भी मदद कर रही हैं।
उनके लिए कई योजनाओं को लागू करके भारतीय किसानों के जीवन को सरल बना रही है। यहां तक कि आधुनिक कृषि तकनीकों के कारण भारतीय किसानों के लिए कृषि सरल हो रहा है।
हालांकि विज्ञान कितना भी विकास कर ले लेकिन भारत के किसानों का जीवन हमेशा सादगी से ही भरा रहेगा, उन्हें सादगी पूर्ण जीवन जीना ही पसंद है।
शहरों में लोग ऐसी में सोते हैं, फ्रिज का ठंडा पानी पीते हैं लेकिन भारत के किसानों के लिए पेड़ की छांव ही उनके लिए ऐसी है और कुएं का ठंडा पानी ही फ्रीज के पानी के समान है।
भारतीय किसान पर निबंध 250 शब्दों में (Bhartiya Kisan Nibandh)
भारत में रहने वाले सभी किसान अपने खेतों में काम करते हैं और खेती-बाड़ी करके अपना घर खर्चा चलाते हैं। किसान अनाज और फल सब्जियां उगाते हैं। किसान द्वारा उगाए जाने वाले अनाज और सब्जियों के माध्यम से ही सभी लोगों का पेट भरता है।
किसान जो खेत में रात-दिन मेहनत करता है, फसल कि रखवाली करता है, जिसकी वजह से ही किसान की फसल अच्छी होती है। भारतीय किसानों की स्थिति काफी दयनीय है। कई प्रकार की सरकारी योजनाओं के माध्यम से किसानों को नए-नए फायदे मिल रहे हैं।
भारत के किसानों को सरकार द्वारा थोड़ी राहत जरूर मिली है। लेकिन दूसरी तरफ फसल पकने पर किसानों को कम दाम में फसल बेचना पड़ता है क्योंकि फसल के भाव गिर जाते हैं।
भारत का किसान जो रोजाना सुबह सूरज उगने से पहले उठकर खेत जाता है। किसान द्वारा जो खेती की जाती है, उसकी मेहनत लगती है। क्योंकि बारिश की वजह से या फिर प्राकृतिक आपदा की वजह से नुकसान होने के चांस ज्यादा होते हैं। ऐसे में किसानों की मेहनत दांव पर लगी रहती है।
हर किसान धरती की पूजा करता है। क्योंकि भारतीय किसान के लिए धरती एक माता समाज है, जो उसे अन्य प्रदान करवाती है और इसी अन्य से देश का पेट भरता है। उदाहरण के तौर पर यदि किसान अनाज नहीं उगाए तो भारत में भुखमरी का संकट आ जाएगा।
भारत में वर्तमान समय में जो किसान खेती करता है। कई लोग उन्हें गवार समझते हैं और उन्हें नीचा भी समझा जाता है। लेकिन ऐसा बिल्कुल गलत है क्योंकि देश का सबसे सम्मान को व्यक्ति ही किसान है।
जब किसान को आप गलत समझना शुरू करोगे तो हो सकता है कि भविष्य में आप को भुखमरी का सामना करना पड़ सकता है। किसान खेती करना छोड़ देगा तो देश में भुखमरी छा जाएगी।
भारतीय किसान पर निबंध 300 शब्दों में
प्रस्तावना
भारत के किसान तो भारत की आत्मा है। भारत के किसानों के कारण ही तो देश का विकास है। भारतीय किसान ना होते तो देश भूखे मर जाएगा। भारत के किसानों के लिए पूरा जीवन कृषि को समर्पित होता है, उनकी आय का प्रमुख स्त्रोत कृषि ही है।
किसानों के हाथों में इतनी ताकत होती है कि वे एक बंजर सी दिखने वाली जमीन में भी हरियाली ला देते हैं। भारतीय किसानों के लिए कृषि के अतिरिक्त पशुपालन उनकी आय का अतिरिक्त स्त्रोत है।
वे साल भर अपने खेतों में मेहनत करते हैं और देश के लोगों के लिए अन्न उपलब्ध कराते हैं। भारत के किसानों को हर एक परिस्थितियों में रहने की आदत हो चुकी है। उनके लिए गर्मी, वर्षा, ठंड एक समान है।
हर एक मौसम के विषमताओं में अपने आपको मजबूत रखने की क्षमता एक भारतीय किसान में है। यह किसान तो तपस्या, त्याग, इमानदारी, परिश्रम एवं लगन के अद्भुत मिसाल हैं।
भारतीय किसानों का महत्व
निसंदेह भारतीय किसानों के महत्व से नजर नहीं हटा सकते। क्योंकि भारत के किसानों का महत्व सर्वोपरि है। जीवन जीने के लिए भोजन की जरूरत पड़ती है और भोजन के लिए अनाज की आवश्यकता होती है।
यह अनाज भारतीय किसान ही उपजाते हैं। भारतीय किसान कडे धूप में, घनघोर वर्षा में, कड़कड़ाती ठंड में हर एक परिस्थितियों में खेत में काम करते हुए फसल उगाते हैं। तब जाकर हमें भोजन प्राप्त हो पाता है।
भारतीय किसान की स्थिति
भारत के किसानों का जीवन निरंतर गतिशील रहता है। जीवन में उनके लिए आराम शब्द का कोई महत्व नहीं। क्योंकि जीवन पर्यंत उनका संबंध केवल संघर्ष और कडे मेहनत से ही रहता है। वे केवल मेहनत करते हैं। उनका जीवन भी सादगी से ही भरा हुआ है।
सुबह सबसे पहले उठ जाते हैं और पशुओं को चारा देने में व्यस्त हो जाते हैं। उसके बाद अपने हल और कुदाल को लेकर चल जाते हैं, अपने मंजिल की ओर। उनका मंजिल सिर्फ एक ही है “खेत”।
कड़कड़ाती धूप में बिना चप्पल के ही वे काम करते हैं। मेले-फटे कपड़े, कंधे पर गमछा, चेहरे पर थकान और पसीना ही भारतीय किसानों की छवि है। भारतीय किसानों की स्थिति काफी दयनीय है।
कभी वे कर्ज के बोझ तले दबे रहते हैं तो कभी अकाल, सूखे तो कभी बाढ़ के चपेट में आ जाते हैं। लेकिन अब खुशी होती है कि भारतीय किसान भी आधुनिक तकनीकों का इस्तेमाल करना सीख रही है।
भारतीय किसानों के लिए लागू नई-नई योजनाओं के कारण उनके जीवन का भी विकास हो रहा है। भारत की युवा जितना काम करती है, उससे कहीं गुना ज्यादा भारतीय किसान काम करते हैं। इसलिए तो कहा जाता है “जय जवान जय किसान”।
निष्कर्ष
निसंदेह सच है कि देश की अर्थव्यवस्था में किसान की महत्वपूर्ण भूमिका है। एक किसान से ही देश की प्रगति है। भारतीय किसान हर एक परिस्थिति और प्रकृति की विषमताओ से जूक्ष कर फसल उपजाते हैं, जिसके कारण देश में सबके घर पर चूल्हा जल पाता है।
हालांकि प्राकृति आपदाओं के कारण इन्हें कई बार परेशान होना पड़ता है, संघर्ष करने पड़ते हैं लेकिन, अब भारतीय किसान आधुनिक वैज्ञानिक साधनों को अपना रहे हैं, जिसकी मदद से फसल उपजाने की क्षमता बढ़ रही है।
भारतीय किसान पर निबंध 500 शब्दों में (Bhartiya Kisan Essay in Hindi)
प्रस्तावना
भारत का किसान एक सम्मानजनक व्यक्ति है, जो कड़ी धूप में मेहनत करके हर भारतीय के लिए अनाज उगाता है और हर भर्तियों को खाने के लिए भोजन उपलब्ध करवाता है।
भारतीय किसान अपने खेतों में काम करके अनाज फल सब्जियां उगाते हैं और उन सभी से देश के सभी लोगों का पेट भरता है। खेती बाड़ी का काम करने वाला व्यक्ति कड़ाके की ठंड और कड़कती धूप में अनाज उगाकर अन्य लोगों के लिए भोजन उपलब्ध करवाते हैं।
आज के समय में जो गांव में लोग निवास करते हैं। उनका मुख्य व्यवसाय कृषि ही है और गांव में रहने वाले लोग मुख्य रूप से खेती पर ही निर्भर है।
किसान की परिभाषा और प्रकार
उन लोगों को किसान कहा जाता है, जो खेती का काम करते हैं। अनाज उत्पादन का काम करते हैं और उसी अनाज से बाकी सभी लोगों को भोजन मिलता है।
किसान तीन प्रकार के होते हैं:
- लघु किसान
- सीमांत किसान
- बृहद किसान
भारतीय किसान का महत्व
भारत में रहने वाले सभी किसानों का महत्व अत्यधिक है और अमूल्य भी है। किसानों के द्वारा तेज कड़क धूप और कड़ाके की ठंड में हर परिस्थिति को सहन करते हुए उगाए गए धन से देश के हर बच्चे का पेट भरता है और इसी वजह से भारत के किसान का महत्व और मूल्य है।
देश की अर्थव्यवस्था को सुधारने में भी भारतीय किसानों की मुख्य भूमिका रही है। देश में रहने वाले किसान अन्य का उत्पादन करते हैं और उनके द्वारा उगाए जाने वाले अनाज से हर देशवासी का जीवन पालन होता है।
भारतीय किसान की स्थिति को सुधारने के लिए सरकार द्वारा किए जाने वाले प्रयास
सरकार हर संभव प्रयास करके किसानों की वर्तमान स्थिति को सुधारना चाहते हैं। किसान हर किसी को अनाज दिलाता है। लेकिन किसानों की खुद की अर्थव्यवस्था पूरी तरह से बिगड़ी होती है। क्योंकि किसानों द्वारा उगाए गए अनाज को बिल्कुल कम दाम के साथ किसानों को बेचना पड़ता है।
ऐसे में उनकी गरीबी लगातार बढ़ती जा रही है। लेकिन पिछले कई सालों से सरकार द्वारा कई सरकारी योजनाओं के माध्यम से किसानों को जोड़ा जा रहा है और किसानों को लाभ प्रदान करवाया जा रहा है।
प्रधानमंत्री किसान सम्मान निधि योजना के तहत देश के हर किसान को ₹6000 वार्षिक सहायता दी जा रही है। पहले को ऑपरेटिव बैंक से लोन मिलता था। लेकिन यह लोन राशि कम होती थी, इसलिए आज के समय में किसान क्रेडिट कार्ड हर किसान को दिया जा रहा है, जिसके माध्यम से व्यक्ति लोन ले सकता है।
फसल बीमा योजना सुविधा प्रदान करवा कर फसल खराब होने पर किसानों की बीमा से भरपाई हो सके। इसका प्रयास सरकार द्वारा किया जा रहा है।
उपसंहार
आज के समय में दिन-प्रतिदिन लोग खेती बाड़ी करने की बजाय अन्य काम धंधे पर जाना उचित समझते हैं। आज के समय में जो 60 फ़ीसदी लोग खेती कर रहे हैं। उन लोगों की भारत की अर्थव्यवस्था में महत्वपूर्ण भूमिका है। साथ ही साथ देश के हर बच्चे तक अनाज पहुंचाने में भी महत्वपूर्ण भूमिका है।
भारतीय किसान पर निबंध 1000 शब्दों में (Indian Farmer Essay in Hindi)
प्रस्तावना
भारत को कृषि प्रधान देश माना जाता है। भारत में किसान हर समय खेतीवाड़ी में व्यस्त रहते है और वह साधारण कपड़े पहनना ज्यादा पसंद करते है। किसान अपना जीवन बहुत ही साधरण तरीके से जीता है और कड़ी धूप, तेज तूफान, वर्षा आदि होते हुये भी कड़ी मेहनत करके खेतों से अनाज उगाते है।
देश भर में चाहे लोग गरीब हो या अमीर हो लेकिन सब लोग किसान पर ही निर्भर होते है। क्योंकि अगर किसान खेती करना छोड़ देगा तो लोगों को अनाज नहीं मिलेगा और वह भूख से मरने लगेंगे।
देश भर के हर शहरो में किसानों द्वारा एक शहर दूसरे शहर तक अनाज भेजा जाता है। क्योंकि किसान कड़ी धूप, तेज ठंड मे भी खेतों पर काम करके देश भर के लोगों के बारे मे सोच कर फसल उगाने मे लगे रहते है कि कोई भी व्यक्ति भूखा ना रहे सबको भोजन मिले। इसलिए हम सभी को किसानो का आदर, सम्मान करना चाहिए क्योंकि हमारे लिये किसान कितना कुछ करते है।
भारतीय किसान का जीवन
अपने जीवन में बहुत सारी समस्याओं का सामना भारतीय किसान को करना पड़ता है। भारतीय किसान को अगर खेती करनी है तो वह धूप, छाव में कठोर मेहनत करने के लिये हमेशा तैयार रहता है।
किसान सुख-दुःख, नुकसान सब कुछ सहन करके खेती करता है। वह जितनी भी मेहनत करता है, उसके फल की प्राप्ति पाने के लिये वह भगवान के ऊपर सब छोड़ देता है, जो भी फल मिलेगा, किसान उसको ख़ुशी-ख़ुशी अपनाने के लिये तैयार रहता है।
भारतीय किसान के साथी हांसिया, खुरपी, बैल, हल आदि का सहारा लेकर किसान खेती करने में पूर्ण रूप से सफल होता है। किसान अपने खेत की जुताई बैलों के द्वारा करता है, किसानों के खेती करने में बैल भी बहुत सहायता करते है और बदलते समय के साथ आज कल लोग खेती करने के लिये ट्रैक्टर का प्रयोग करने लगे है।
आज के समय इतना विकास हो गया है कि किसान फसल को काटने के लिये हार्वेस्टर मशीन का उपयोग करने लगे है, जिससे फसल जल्दी काट जाती है और फसल साफ-सुथरी रहती है।
किसान का जनता के प्रति सेवा
जनता के प्रति निस्वार्थ भावना से किसान सेवा करता है। किसान अपने बारे मे कभी नहीं सोचता है, वह बिना किसी स्वार्थ के जनता को बहुत कुछ देता है।
किसान गांव में गाय, भैस पालते है और गाय, भैस का दूध निकाल कर स्वयं नहीं पीते है। वह दूध शहर में ले जाकर बेच देते है। किसान को किसी भी प्रकार की सुख सुविधा नहीं मिल पाती है, क्योंकि किसान जनता को सुख सुविधा देने मे इतना व्यस्त हो जाते है की अपने जीवन के लिये सोच नहीं पाते है।
भारतीय किसान दिवस
पूरे देश में किसान दिवस हर वर्ष 23 दिसबर को मनाया जाता है। किसान दिवस हर वर्ष पूर्व प्रधानमंत्री मंत्री चौधरी चरण को सम्मानित करने के लिये किसान दिवस के रूप मे मनाया जाता है। 28 जुलाई 1979 से लेकर 14 जनवरी 1980 तक पूर्व प्रधानमंत्री मंत्री चौधरी चरण को देश की सेवा करने के लिये छोटे पद पर प्रधानमंत्री बनाया गया।
क्योंकि वह किसान परिवार से थे और किसानो के लिये पूर्व प्रधानमंत्री मंत्री चौधरी चरण ने बहुत सारी योजनाएं शुरू की थी। उन्होंने किसानों के जीवन को लेकर लगन के साथ कड़ी मेहनत की और किसानो के जीवन मे नई उमंगे लाने के लिए बहुत से नियम बनाये।
पूर्व प्रधानमंत्री मंत्री चौधरी चरण ने किसानों के लिये बहुत कुछ किया, इसलिए उनके जन्मदिन के पर उनके द्वारा बनायीं गई नीतियों को यादगार बनाने के लिये किसान दिवस मनाया जाता है।
भारतीय किसान का महत्व
भारतीय किसानों का हम सभी के जीवन बहुत महत्व है। भारतीय किसान हम सभी के लिये खेत में अनाज उगाता है और वह साधारण तरीके के कपड़े पहनकर अपना जीवन व्यतीत करता है। इसलिए किसान को बहुत से लोग गवार समझते है, किसान को बहुत नीचा दिखाते है और उनकी गरीबी का मज़ाक उड़ाते है।
हमें नहीं भूलना चाहिए कि देश का हर एक व्यक्ति किसान पर ही निर्भर रहता है। किसानों की वजह से ही जनता को अन्न का दाना नसीब होता है। हम सब का कर्तव्य कि देश के हर एक व्यक्ति को बराबर सम्मान देना चाहिए।
निष्कर्ष
किसान देश की उन्नति को बढ़ाने में महत्वपूर्ण योगदान देता है। किसान देश की जनता के लिये अनाज उगाता है, अगर किसान अनाज उगाना बंद कर दें तो लोगों का जीवित रह पाना मुश्किल हो जायेगा।
सरकार द्वारा किसान के लिये कुछ नई योजनाएं बनाई जाती है, जिन पर बिल्कुल रुकवाट ना डाले, जिससे किसानों को भी कुछ लाभ कमाने का अवसर मिले। किसान जनता के लिये कितना कुछ करता है, जनता का भी फ़र्ज़ हैं कि किसानों के लिये कुछ करें।
अंतिम शब्द
भारत देश को किसान प्रधान देश माना जाता है। क्योंकि भारत देश की जनसंख्या का ज्यादातर हिस्सा खेती पर निर्भर है। भारत देश में निवास करने वाले ज्यादातर लोग किसान है।
आज का यह आर्टिकल जिसमें हमने भारतीय किसान पर निबंध (Essay on Indian Farmer in Hindi) के बारे में संपूर्ण जानकारी आप तक पहुंचाई है। मुझे पूरी उम्मीद है कि हमारे द्वारा दी गई जानकारी आपको पसंद आई होगी। यदि किसी व्यक्ति को इस आर्टिकल से संबंधित कोई सुझाव है तो वह हमें कमेंट के माध्यम से बता सकता है।
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