Essay on Good Friday in Hindi: गुड फ्राइडे ईसाई धर्म का त्यौहार होता है और इस दिन को ईसाई धर्म के लोग शुभ दिन भी मानते हैं। हम यहां पर गुड फ्राइडे पर निबंध शेयर कर रहे है। इस निबंध में गुड फ्राइडे के संदर्भित सभी माहिति को आपके साथ शेअर किया गया है। यह निबंध सभी कक्षाओं के विद्यार्थियों के लिए मददगार है।
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गुड फ्राइडे पर निबंध | Essay on Good Friday in Hindi
गुड फ्राइडे पर निबंध (250 Words)
यह ईसाई समुदाय के लोगों का त्यौहार है। इसे ब्लैक फ्राइडे, होली फ्राइडे और ग्रेट फ्राइडे के नाम से भी जाना जाता है। गुड फ्राइडे ईस्टर संडे से पहले आने वाला शुक्रवार को मनाया जाता है। इस दिन को शोक दिवस के रूप में भी मनाया जाता है। इस दिन चर्च में घंटियां भी नहीं बजाई जाती है।
आज से लगभग 2000 साल पहले ईसा मसीह के साथ बहुत लोग जुड़े थे और उनकी लोकप्रियता को मानवता का शत्रु बताकर उन्हें मृत्युदंड देने का आदेश जारी कर दिया था। इस आदेश के जारी होने के बाद ईसा मसीह को कोड़ा और चाबूको की सजा दी गई और साथ ही उन्हें सूली पर भी लटका दिया गया। जिस दिन ईसा मसीह को सूली पर लटकाया गया था, उस दिन शुक्रवार था। उस समय से आज भी इस शुक्रवार को गुड फ्राइडे के नाम से जाना जाता है।
बाइबल ग्रन्थ में लिखा है कि ईसा को छः घंटों तक कीलों से ठोक कर सूली पर लटकाया गया था। इस दौरान चारों तरफ दिन में ही अंधेरा हो गया था। उनकी मृत्यु के बाद जलजला आगया था और सभी कब्रों की कपाटें खुल गई थी। तब से हर साल इस दिन को गुड फ्राइडे के रूप में मनाया जाने लगा।
गुड फ्राइडे को दोपहर 3 बजे चर्च में प्रार्थना की जाती है। इसके साथ ही प्रभु यीशु से अपने गुनाहों की माफ़ी भी मांगी जाती है। यह सप्ताह बहुत पवित्र माना गया है। इस पवित्र सप्ताह में चर्च में किसी तरह का उत्सव नहीं मनाया जाता है।
गुड फ्राइडे पर निबंध ( 800 Words )
प्रस्तावना
गुड फ्राइडे को कई नामों से जाना जाता है, जैसे कि होली फ्राइडे और ग्रेट फ्राइडे। यह त्यौहार ईसाई धर्म का होता है। यह गुड फ्राइडे ईस्टर संडे से पहले होने वाले शुक्रवार को शोक दिवस के रुप में मनाया जाता है।
ईसाई धर्म के लोग इस दिन को शुभ दिवस के रूप में मनाते हैं। अभी तक आपके मन मे कुछ विचार भी उत्पन्न हो चुके होंगे। लेकिन कुछ को इसके बारे में पता होगा। यदि आपको नहीं पता तो कोई दिक्कत वाली बात नहीं है। यहां पर आपको गुड फ्राइडे के बारे में संपूर्ण जानकारी मिलेगी।
गुड फ्राइडे मनाने का उद्देश्य
गुड फ्राइडे के दिन ईसा मसीह को बहुत सारी यातनाएं दी गई थी। यातनाएं देने के बाद इनको सूली पर चढ़ा दिया गया था। इस कारण ईसाई धर्म के लोग इस दिन को गुड फ्राइडे के नाम से जानते हैं और इस दिन शुभ दिवस भी मनाते हैं। ईसाई धर्म को मानने वाले लोगों को का मानना है कि ईसा मसीह ने लोगों की भलाई के लिए अपने प्राणों को त्याग किया था इसलिए इसे गुड कहा जाता है और फ्राइडे के दिन इन को सूली पर चढ़ाया गया तो तो इसलिए गुड फ्राइडे इस त्यौहार का नाम पड़ा है।
इस दिन को शुभ दिवस के रूप में मनाते हैं चर्च में गुड फ्राइडे के दिन घंटियां भी नहीं बजाई जाती हैं। आज से लगभग 2000 वर्ष पूर्व जब ईसा मसीह की बढ़ती लोकप्रियता को देखकर वहां के रहने वाले धर्मगुरुओं ने उनको मानवता का शत्रु बता के उन्हें फांसी का फरमान दिया था।
ईसाई धर्म के अनुसार ईसा मसीह को 6 घंटे कीलो से ठोकर सूली पर चढ़ा दिया गया था। आखिरी के 3 घंटे में पूरे राज्य में अंधेरा छा गया था। बाइबल के अनुसार ईसा मसीह के प्राण त्यागने के बाद जलजला आ गया था। और सभी कब्रो की कपाटे टूटकर खुल गई थी।
पवित्र मंदिर में पर्दा फट गए और इस दिन को ही गुड फ्राइडे के रूप में मनाया जाने लगा था। इस दिन ईसाई समाज के लोग चर्च में 3:00 बजे इकट्ठा होते हैं और प्रार्थना करते हैं और गॉड जीसस से अपने लिए प्रार्थना मांगते हैं।
ईसाई धर्म के लोग इस दिन काले कपड़े पहन कर शोक व्यक्त करते हैं। ईसाई धर्म में इस पूरे सप्ताह को बहुत ही ज्यादा पवित्र माना जाता है। सबसे जरूरी बात की इस दिन चर्च में किसी भी प्रकार का कोई भी उत्सव नहीं मनाया जाता है।
ईसाई धर्म के प्रमुख ईसा मसीह
सभी धर्म के लोग अपने अपने भगवान की उपासना करते है। ईसाई धर्म में प्रभु ईसा मसीह को बहुत ही ज्यादा माना जाता है। ईसाई धर्म की स्थापना ईसा मसीह ने की थी। लेकिन धर्म गुरुओं को इनका लोकप्रिय होना पसंद नहीं आया उन्होंने इनके खिलाफ षड्यंत्र करना शुरू कर दिया था।
लेकिन कुछ धर्म गुरु ने इनके खिलाफ अदालत में फरमान जारी कर दिया था कि इनको फांसी की सजा सुनाई जाए। फांसी की सजा से पहले ही इनके शरीर में कील ठोकी गई थी। ईसा मसीह के सर पर कांटों का ताज पहना कर घुमाया गया था। बाइबल के अनुसार इन्हें कील तथा कांटो का ताज पहनाकर लगभग 6 घंटे तक राज्य में घुमाया गया, इसके बाद उन्होंने अपने प्राण त्याग दिए थे। इसलिए गुड फ्राइडे के दिन सिर्फ प्रार्थना और सभा आयोजित की जाती है।
25 दिसंबर
25 सितंबर दिन ईसा मसीह का जन्म हुआ था। लोग इस दिन को बड़े ही धूमधाम से मनाते हैं। प्रातः कालीन अपने नए नए वस्त्र को पहनकर चर्च में पहुंच जाते है। प्रार्थना इत्यादि करने के बाद एक दूसरे को ईसा मसीह के जन्म दिवस की शुभकामनाएं देते हैं और भोजन पर आमंत्रित करते हैं। जन्म दिवस के रूप में सांता क्लॉस बच्चों को उपहार देता है।
लोग इस दिन शोक सभा आयोजित करते हैं। गिरजाघर के घंटियों को बजाना प्रतिबंधित कर दिया जाता है। इसके अलावा लोग उस समय चर्च में किसी भी प्रकार का सेलिब्रेशन नहीं कर सकते हैं।
निष्कर्ष
जैसा कि आपको पता है कि भारत विविधताओं वाला देश है। इसलिए सभी लोग अपने अपने त्योहारों को बहुत ही आसानी से मनाते हैं। ईसाई धर्म के लोग भी गुड फ्राइडे को मनाते है और आनंद लेते हैं। हम सभी धर्मो का सम्मान करना चाहिए।
अंतिम शब्द
आज के आर्टिकल में हमने गुड फ्राइडे पर निबंध ( Essay on Good Friday in Hindi) के बारे में बात की है। मुझे पूरी उम्मीद है की हमारे द्वारा लिखा गया यह आर्टिकल आपको पसंद आया होगा। यदि किसी व्यक्ति को इस आर्टिकल में कोई शंका है। तो वह हमें कमेंट में पूछ सकता है।
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